अयोध्या पहुंचे सुब्रमण्यम स्वामी बोले- राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा का नहीं मिला निमंत्रण?

अयोध्या।राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी मंगलवार को राम नगरी अयोध्या पहुंचे।यहां कांची काम कोटी प्रमोद वन में शंकराचार्य विजेंद्र सरस्वती से मुलाकात की।सुब्रमण्यम स्वामी ने रामनगरी में बड़ा बयान दिया है।उन्होंने कहा कि राम मंदिर देश के लिए सौभाग्य का विषय है।राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा पर मुझे निमंत्रित नहीं किया गया है।प्राण प्रतिष्ठा पर राजनीतिकरण करने वाले लोगों के सवाल पर कहा कि राम मंदिर से जुड़े हुए सवालों पर प्रतिक्रिया वरिष्ठ सन्यासी को ही करनी चाहिए‌?

सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में हमने तर्क दिया था कि राम मंदिर पर हमारा मूलभूत अधिकार है।जहां भगवान राम पैदा हुए हैं, वह हिंदुओं के लिए आस्था का केंद्र है।संविधान में लिखा है कि आस्था को खत्म नहीं किया जा सकता, इसलिए राम मंदिर दोबारा बनाने का मौका मिला है?

सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि राम मंदिर अशोक सिंघल की इच्छा थी।उन्होंने विश्व हिंदू परिषद की मीटिंग में इसके लिए अपील की थी।रामसेतु को बचाने वाले राम मंदिर को भी बनाएंगे।उन्होंने कहा कि राम मंदिर के मामले पर सुप्रीम कोर्ट को एक नया आयाम दिखाया है, जहां राम पैदा हुए, यह हमारी आस्था का केंद्र है।इसको चुनौती नहीं दी जा सकती है। जहां राम पैदा हुए वह आस्था के अनुसार अयोध्या में है और कहीं नहीं जाया जा सकता।इसलिए वह हिंदुओ को मिलना चाहिए।मस्जिद का निर्माण कहीं भी हो सकता है,क्योंकि मस्जिद केवल नमाज पढ़ने की जगह है। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने हमारी बात मानी और हम जीते?

सुब्रमण्यम स्वामी ने कांग्रेस पर भी निशाना साधा है।उन्होंने कहा कि कांग्रेस कोई पार्टी नहीं है।यह विदेशियों का एक गुट है। कांग्रेस पार्टी में बाकी सब लोग गुलाम के जैसे हैं।कांग्रेस पार्टी को पार्टी नहीं माना जा सकता।कांग्रेस पार्टी का कोई भविष्य नहीं है। उन्होंने कहा कि इंडिया गठबंधन पर रोज लड़ाई चल रही है।टिकट बटने के बाद इंडिया गठबंधन पर प्रतिक्रिया दी जाती है?

सुब्रमण्यम स्वामी ने अपनी ही सरकार पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा कि मेरे बयान अखबार में नहीं छपते।टीवी पर चलने में अड़चन पैदा करते है।मैं भाजपा में हूं, लेकिन हमारे मतभेद है?

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